Delhi se Gangotri Family Trip: An Exciting and Complete Travel Guide

Delhi se Gangotri Family Trip: रात की यात्रा से लेकर दर्शन तक की                                           पूरी योजना

 

Gangotri फैमिली ट्रिप

🧭 चारधाम यात्रा का शुभारम्भ

चारधाम यात्रा को प्राचीन काल से ही “स्वर्ग  का द्वार” कहा जाता है। इसकी शुरुआत आप किसी भी धाम से कर सकते हैं, लेकिन प्रत्येक स्थल आध्यात्मिक ऊर्जा से भरपूर होता है।

🌊 पौराणिक कथा – गंगा का धरती पर अवतरण

मान्यता है कि राजा सगर के यज्ञ के घोड़े को इंद्र ने चुराकर कपिल मुनि के आश्रम में बाँध दिया था। घोड़े की तलाश में उनके 60,000 पुत्रों ने मुनि का तप भंग कर दिया, जिसके कारण वे श्राप से भस्म हो गए।

राजा भगीरथ ने इनकी मुक्ति के लिए कठोर तपस्या की, जिससे प्रसन्न होकर ब्रह्मा जी ने गंगा को पृथ्वी पर भेजा। लेकिन गंगा के वेग को थामने के लिए भगवान शिव ने उन्हें अपनी जटाओं में समाहित कर धीरे-धीरे धरती पर प्रवाहित किया।
इसीलिए गंगा को ‘भगीरथी’ भी कहा जाता है। यह कथा तप, श्रद्धा और मोक्ष की प्रतीक है।

🌃 Step 1: दिल्ली से हरिद्वार की रात की यात्रा

  • आप रात को दिल्ली से ट्रेन या बस से हरिद्वार के लिए निकल सकते हैं।
  • सुबह-सुबह आप हरिद्वार पहुंच जाएंगे।

🛁 फ्रेश होने की व्यवस्था:

  • हरिद्वार स्टेशन के पास रेलवे वेटिंग रूम, धर्मशालाएं और बजट होटल्स आसानी से उपलब्ध हैं जहाँ आप फ्रेश होकर नहा सकते हैं।
  • आसपास के ढाबों या रेस्टोरेंट में नाश्ता कर सकते हैं (जैसे पूड़ी-सब्जी, चाय, इडली-सांभर)।


🚕 Step 2: हरिद्वार से गंगोत्री के लिए टैक्सी यात्रा

✅ क्यों टैक्सी बेहतर है?

  • बसें उपलब्ध हैं, लेकिन परिवार के साथ यात्रा में लाइन लगाना मुश्किल हो सकता है।

  • टैक्सी से आप अपनी सुविधा के अनुसार रुक सकते हैं और यात्रा आरामदायक होती है।

  • पहले से टैक्सी बुक करना अधिक किफायती और सुविधाजनक रहेगा।

🚖 टैक्सी के प्रकार

विकल्प विशेषताएँ
प्राइवेट टैक्सी एसी विकल्प सहित, आरामदायक
शेयरिंग टैक्सी बजट फ्रेंडली, परंतु AC नहीं, 8–10 लोग

🕗 Step 3: ट्रैफिक व मौसम का ध्यान रखें

  • यात्रा का व्यस्त समय: मई से जून मध्य तक

  • इस दौरान भीड़ और जाम अधिक होते हैं, इसलिए एक दिन का अतिरिक्त समय जरूर रखें।


🏔️ Step 4: गंगोत्री या हर्षिल वैली में ठहराव

शाम तक आप गंगोत्री या पास की हर्षिल वैली पहुँच जाएंगे।
हर्षिल में धर्मशालाएं व छोटे होटल उपलब्ध हैं, जहाँ आप विश्राम कर सकते हैं।

अगली सुबह दर्शन के लिए:

  • सुबह जल्दी दर्शन के लिए निकलें क्योंकि मंदिर तक जाने वाला रास्ता भीड़ के कारण जाम हो सकता है।

  • वाहन को थोड़ी दूरी पर पार्क करना पड़ता है लेकिन मंदिर तक बहुत ज्यादा पैदल नहीं चलना होता।


🧘‍♂️ परिवार के लिए खास सुझाव

  • बुजुर्गों के लिए व्हीलचेयर की सुविधा मिल सकती है।

  • बच्चों के लिए गर्म कपड़े अवश्य रखें।


⚠️ जरूरी सावधानियां

  • जुलाई–अगस्त में बारिश से रास्ते खतरनाक हो सकते हैं।

  • मोबाइल नेटवर्क सीमित हो सकता है।

  • पहाड़ी ड्राइवर्स और लोकल गाइड को प्राथमिकता दें।


🔱 गंगोत्री जल की महिमा

  • यहाँ का जल केदारनाथ के ज्योतिर्लिंग पर चढ़ाया जाता है।

  • कुछ श्रद्धालु इसे सील बंद लोटे में लेकर रामेश्वरम में शिवलिंग पर अर्पित करते हैं।

  • आप माँ गंगा में स्नान कर सकते हैं, लेकिन पानी अत्यंत ठंडा होता है, सावधानी रखें।

🛍️ गंगा माँ के श्रृंगार के लिए एक साड़ी और पूजा का सामान साथ ले जाएँ।

📌 ध्यान दें: स्नान के लिए अतिरिक्त कपड़े जरूर रखें।

📄 पंजीकरण अनिवार्य है

  • चार धाम यात्रा के लिए पंजीकरण आवश्यक है
  • आप online registration portal पर जाकर ऑनलाइन पंजीकरण कर सकते हैं
  • यात्रा के दौरान चेकिंग होती है, बिना रजिस्ट्रेशन आपको आगे नहीं बढ़ने दिया जाएगा

🚗 परमिट पास की आवश्यकता

  • टैक्सी ड्राइवर के पास परमिट पास होना जरूरी है
  • अगर आप अपनी कार से जा रहे हैं, तो स्वयं पास लेना होगा
  • अधिकतर टैक्सी वाले पास खुद ही बना लेते हैं

🔁 आगे की यात्रा विकल्प

गंगोत्री दर्शन के पश्चात आप यात्रा को आगे बढ़ाते हुए:

  •  👉 केदारनाथ की ओर प्रस्थान कर सकते हैं — जो चारधाम यात्रा का एक प्रमुख और अत्यंत पवित्र धाम है। जहाँ आप गंगोत्री से लाया हुआ जाल चढ़ा सकते हैं।
  • 👉 अथवा यदि समय और सुविधा अनुसार चाहें, तो कुछ विश्राम के बाद सीधे दिल्ली वापसी भी कर सकते हैं।

🔚 निष्कर्ष

गंगगोत्री की यात्रा केवल दर्शन नहीं, बल्कि एक संस्कार और अनुभव है —
जहाँ प्रकृति, आस्था और परंपरा का अद्भुत संगम होता है।

🔗 दिल्ली से यमुनोत्री यात्रा की पूरी जानकारी के लिए पढ़ें:
👉 दिल्ली से यमुनोत्री फैमिली ट्रिप: यात्रा गाइड, मार्ग और सुझाव

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